शुक्रवार, 29 जनवरी 2016
काली रात में चोदी लाल चूत(4)
अब वो मेरे ऊपर बैठकर खुद अपनी चूत में मेरा लंड ले रही थी। में बस उसकी कमर को पकड़कर उसको सहारा दे रहा था। वो अब मेरे लंड पर लगातार उछल रही थी और मेरा लंड उसकी चूत की गहराईयों में जाकर उसकी बच्चेदानी को छू रहा था। उसको ऐसा करने में बहुत मज़ा आ रहा था, लेकिन कुछ समय के बाद मैंने उसको सीधा लेटा दिया और अब में उसके ऊपर आकर उसे चोदने लगा। करीब दस मिनट धक्के देने के बाद हम दोनों एक बार फिर से एक साथ झड़ गये। दोस्तों वो अब तक पांच बार झड़ चुकी थी और अब बहुत थक भी चुकी थी जब मैंने टाईम देखा तो उस समय रात के दो बज रहे थे। वो मुझसे बोली कि मुझे अब अपने घर पर जाना है। फिर हम दोनों एक बार और पानी के अंदर गये और साथ साथ नहाकर बाहर आए। उसने जल्दी से कपड़े पहने और मैंने भी अपने कपड़े पहन लिए और अब में उसको उसके घर पर छोड़ने चला गया। वैसे उसका घर पास ही था तो चलते समय रास्ते में उसने मेरा मोबाईल नंबर ले लिया और अपने घर के पास जाकर उसने मुझे किस किया और फिर चली गई, लेकिन उसके बाद भी अक्सर हम मिलते और चुदाई करते है। मैंने उसको बहुत बार चोदा और उसने मेरा हमेशा पूरा पूरा साथ दिया। मैंने उसके उस रात के बाद भी बहुत बार अपने खेत पर तो कभी अपने और कभी उसके घर पर चोदा ।।
धन्यवाद …
काली रात में चोदी लाल चूत(3)
फिर मैंने उसकी पूरी बात सुनकर उसको जल्दी से नीचे लेटाया और अब में उसके दोनों पैरों के बीच में आ गया। मैंने अपना लंड एक हाथ में पकड़ा और फिर उसकी चूत के दाने के आसपास फेरने लगा और थोड़ा अंदर बाहर करने लगा, जिसकी वजह से वो एकदम से तड़पने लगी और मुझसे बोली कि प्लीज अब डाल भी दो यार क्यों मुझे इतना तरसा रहे हो? अब मैंने अपने लंड पर थोड़ा सा ज़ोर लगाया तो मेरा थोड़ा सा लंड उसकी चूत में चला गया और उसके मुहं से बहुत ज़ोर से आाईईईईईई आह्ह्ह्हह्ह मर गई मम्मी की आवाज़ निकली और वो अब दर्द से छटपटाने लगी, लेकिन मैंने उसके दर्द पर बिल्कुल भी ध्यान नहीं दिया। मैंने जब दूसरा ज़ोर का झटका मारा तो मेरा आधा लंड उसकी चूत में चला गया और वो ज़ोर ज़ोर से चीख चीखकर रोने लगी। मैंने उसके मुहं पर अपना एक हाथ रख दिया और अब दोबारा एक ज़ोर से झटका मारा तो मेरा पूरा का पूरा लंड उसकी तड़पती, मचलती हुई चूत में फिट हो गया और उसकी चूत से खून बाहर आने लगा। में कुछ देर ऐसे ही रहा, लेकिन जब वो पूरी तरह से शांत हो गई तो में धीरे धीरे झटके मारने लगा।
अब मैंने महसूस किया कि वो भी नीचे से झटके मारने लगी थी और वो आहह्ह्हह्ह्ह्ह मर गई मम्मी उह्ह्ह्हह्ह थोड़ा और ज़ोर से करो हाँ और अंदर डालो उफ्फ्फ्फफ्फ्फ़ करने लगी। मैंने उसको उठाया और खड़ा करके उसके एक पैर को उस चारपाई पर रखकर चोदने लगा। वो मुझे अपनी बाहों में लेकर खुद भी झटके मारने लगी। कुछ समय खड़े खड़े चुदाई करने के बाद में लेट गया और उसको अपने ऊपर आने को कहा। वो अब मेरे लंड पर बैठकर ऊपर नीचे होने लगी और आईईईई मम्मी मर गई आहहह्ह्हह उफ्फ्फ्फफ्फ्फ़ करने लगी, लेकिन दोस्तों वो इस बीच दो बार झड़ चुकी थी और अब मेरा भी काम पूरा होने वाला था। मैंने एक बार फिर से उसको सीधा लेटा दिया और ऊपर से लंड उसकी चूत में डाल दिया और अब में उसे ज़ोर ज़ोर से धक्के देकर चोदने लगा। दो मिनट के धक्को के बाद मैंने उससे पूछा कि में अपना वीर्य कहाँ पर निकालूँ? तो उसने मुझसे कहा कि आप मेरी चूत के अंदर ही निकाल दो, में उसको महसूस करना चाहती हूँ और करीब 10-15 झटकों के बाद में उसकी चूत में ही झड़ गया और मेरे साथ ही वो भी झड़ गई। मेरे और अब उसका पानी उसकी चूत से निकलकर उसकी गांड की दरार से होकर नीचे टपक रहा था। मैंने उसकी चूत को साफ किया और उसने मेरे लंड को साफ किया। इतने में लाईट भी आ गई थी। मैंने मोटर चलाई और उसको साथ लेकर टंकी जिसमे मोटर का पानी गिरता है उसमे नहाने लगा। में अब पानी के बीच उसके बूब्स को चूसने लगा। मुझे यह सब करने से बहुत मज़ा आ रहा था। फिर मैंने उसको टंकी की एक साइड पर बैठाया और मैंने एक बार फिर से लंड उसकी चूत में डाल दिया और अब वो आहह्ह्ह्हह्ह उह्ह्ह्हह्हहह मर गई आईईईई हाँ और ज़ोर से चोदो मुझे कर रही थी। मैंने उसको फिर से टंकी के बीच में ही घोड़ी बना लिया और फिर पीछे से अपना लंड डाल दिया। जिसकी वजह से अब पानी उनकी चूत से एक इंच नीचे तक था और उसके बूब्स भी पानी में पूरी तरह डूबे हुए थे और दस मिनट ऐसे ही चोदने के बाद हम एक बार फिर से उस चारपाई पर आ गये।
काली रात में चोदी लाल चूत(1)
हैल्लो दोस्तों, मेरा नाम अमृत है और आज में आप सभी को अपनी एक मस्त चुदाई की घटना बताने जा रहा हूँ जिसमे मैंने उस काली रात में लाल चूत को चोदा और बहुत मज़े किए। वैसे यह मेरी कामुकता डॉट कॉम पर पहली कहानी है, लेकिन में फिर भी उम्मीद करता हूँ कि यह रोचक जोश भरी कहानी आप सभी को जरुर पसंद आएगी और अब में अपनी आज की कहानी को शुरू करता हूँ। दोस्तों यह कहानी आज से दो साल पहले की है जब एक रात को में अपने ट्यूबवेल पर लाईट आने की इंतजार कर रहा था और वहां पर में एक चारपाई पर लेटा हुआ था, तभी अचानक मुझे पता नहीं कि कब मेरी आँख लग गई। फिर कुछ देर के बाद करीब रात के 11 बजे मुझे अपने गाल पर कुछ हलचल सी महसूस हुई। में कुछ देर गहरी नींद में होने की वजह से उसे सिर्फ मेरा एक भ्रम समझकर चुपचाप लेटा रहा। मैंने कोई भी हलचल नहीं की, लेकिन जब मेरी नींद खुली और फिर में एकदम से उठा और मैंने देखा कि मेरे सामने एक लड़की, जिसका नाम रीना था वो बैठी हुई थी। दोस्तों रीना हमारे गावं की एक सबसे सुंदर लड़की थी। उसकी उम्र करीब 20 साल की होगी और उसके बूब्स का साईज़ 34-28-36 होगा। वो दिखने में एकदम हॉट सेक्सी माल था और उसे हमारे यहाँ के सभी लड़के चोदना चाहते थे, लेकिन वो हर किसी को देखती भी नहीं थी, लेकिन अपने उस सेक्सी जिस्म को सभी को दिखाकर अपने अपने लंड हिलाकर मुठ मारने पर जरुर मजबूर किया करती थी। उसके हुस्न के बहुत सारे दीवाने थे, जो उसे एक बार जरुर चोदना चाहते थे।
दोस्तों असल में वो उस समय वहां पर अपने बॉयफ्रेंड से मिलने आई थी। उनका आज रात को हमारे ट्यूबवेल पर मिलने का प्लान था क्योंकि यहाँ पर एक चारपाई हमेशा बाहर ही पड़ी रहती है और जब में सो रहा था तो उस समय बहुत अँधेरा था और फिर रीना ने मुझे सोता हुआ देखकर सोचा कि में उसका बॉयफ्रेंड हूँ और इसलिए उसने मुझे किस कर लिया, लेकिन उसी समय उसको पता चल गया कि में कोई और हूँ और अब वो एकदम से बहुत डर गई। मैंने उससे पूछा कि तुम यहाँ पर क्या करने आई हो? तो वो मुझसे बिना कुछ कहे ज़ोर ज़ोर से रोने लगी। मैंने उससे कहा कि तुम मुझसे बिल्कुल भी मत डरो और में किसी से कुछ भी नहीं कहूँगा। फिर उसने कुछ देर बाद बताया कि में यहाँ पर सन्नी से मिलने आई थी और उसने मुझे यहाँ पर मिलने बुलाया था। मैंने उसका हाथ पकड़ा और उसे बैठने को कहा तो वो अब भी ज़ोर ज़ोर से रो रही थी। अब मैंने उससे कहा कि तुम बिल्कुल भी मत डरो में किसी को कुछ नहीं कहूँगा और वो अब मेरे पास बैठ गई। तभी कुछ देर के बाद जब वो एकदम शांत हुई तो उसने मुझे बताया कि वो उससे एक बार पहले भी यहाँ पर मिल चुकी है, लेकिन चूमने चाटने, बूब्स को दबाने के आलावा उन्होंने कुछ नहीं किया था क्योंकि सन्नी का डर की वजह से खड़ा ही नहीं हुआ था। फिर मैंने उससे तुरंत कहा कि क्या तुम मेरे साथ वो सब करना चाहोगी? तो उसने मुझसे साफ मना कर दिया, लेकिन मेरे थोड़ा ज़ोर देने पर उसे बहुत देर तक समझाने पर वो अब ना जाने कैसे मान गई? अब मैंने उसे सन्नी को फोन करने को कहा और उससे कहा कि तुम उसको बोल दो कि में आज नहीं आ सकती और अब उसने ऐसा ही किया जैसा मैंने उससे कहा था। फिर मैंने उसके लाल लाल होंठो पर अपने होंठ रख दिए और अब धीरे धीरे चूसने लगा। वो भी कुछ देर बाद मेरा पूरा पूरा साथ देने लगी। मैंने अब उसको अपनी बाहों में भर लिया तो उसने भी मुझे अपनी बाहों में ले लिया। दस बारह मिनट उसके होंठ चूसने के बाद में उसके कान, गाल और उस गदराए बदन पर किस करने लगा। वो मुझसे अब और भी चिपकती गई और अब वो आह्ह्ह्हह आईईईईईइ उफ्फ्फफ्फ्फ़ करने लगी और ज़ोर ज़ोर से सिसकियाँ लेने लगी। अब मैंने एकदम सही मौका देखकर उसकी कमीज़ को उतार दिया और अब में उसके बूब्स को बिल्कुल बाहर मेरे सामने देखकर पागल सा हो गया और में उन पर टूट पड़ा और उन्हें ज़ोर ज़ोर से दबाने, मसलने लगा। वो भी अब जोश में पूरी तरह पागल हो रही थी। तभी उसने अपनी ब्रा को ऊपर कर दिया और मेरा सर पकड़कर अपने बूब्स पर रख दिया।
बुधवार, 27 जनवरी 2016
सेक्सी मकान मालकिन की चूत मारी(4)
दोस्तों वाह क्या मस्त स्वाद था उसकी चूत के पानी का और उसे में चूसता ही रहा और करीब दस मिनट तक चाटता ही रहा, तो इसी बीच वो एक बार झड़ चुकी थी और जब मैंने उसकी तरफ़ देखा तो वो ज़ोर ज़ोर से हाँफ रही थी और स्माईल कर रही थी। मैंने उसे किस किया और बोला कि भाभी क्या आप हमेशा अपनी चूत को क्लीन शेव रखती हो? तो वो बोली कि नहीं मैंने आज ही खाना बनाने से पहले अपनी चूत को साफ किया है और हम फिर से किस करने लगे और उसने मेरे लंड को दोबारा चूसना शुरू कर दिया और जब मेरा लंड पूरा टाइट हो गया तो वो मुझसे बोली कि प्रदीप प्लीज मेरी चूत बहुत प्यासी है आज इसकी प्यास बुझा दो और फिर मैंने अपना लंड उसकी चूत के छेद पर रख दिया और एक ज़ोर का धक्का मारा, लेकिन उसकी चीखने की आवाज़ उसके मुहं में दबकर रह गयी और आँखे जैसे बाहर आ गयी। तो यह सब देखकर में थोड़ा सा रुका और वो बोली कि प्लीज थोड़ा धीरे धीरे डालो, मैंने इसमें पिछले दो साल से एक उंगली भी नहीं डाली है और फिर मैंने धीरे धीरे धक्के देकर चोदना शुरू कर दिया और थोड़ी देर के बाद वो भी अपनी गांड को उछालने लगी और मेरे हर एक धक्के के साथ आअहह आईईईई उफफ्फ्फ् आआआहह ऊऊऊओह की आवाज़ निकालने लगी और में भी उसे ज़ोर ज़ोर से धक्कों के साथ चोदने लगा, उसने मस्ती में अपनी दोनों आँखे बंद कर रखी थी और में उसे इस कामुक अवस्था में देखकर और भी पागल हुआ जा रहा था और उसे ज़ोर ज़ोर से चोद रहा था।
फिर वो भी अब मुझे बोल रही थी हाँ और ज़ोर से चोदो मुझे प्रदीप आआआहह और ज़ोर से चोदो मेरी चूत को, दो साल से वो साला कुत्ता मुझे प्यासी छोड़कर गया हुआ है और वहां पर वो रंडियों को चोद रहा होगा और में यहाँ पर बिना लंड के चुदने के लिए तरस रही हूँ आआआहह ऊऊऊओभ और वो अपनी गांड को ज़ोर ज़ोर से उछालने लगी। मैंने उसे सीधा लेटाया हुआ था और उसके दोनों पैर मेरे कंधे पर थे, जब वो एक बार झड़ गयी तब उसने अपनी आँखे खोली और स्माईल के साथ आअहह कर रही थी। में उसे लगातार धक्के मार रहा था और उसे किस कर रहा था, उसके बूब्स को बारी बारी से चूस रहा था दबा रहा था और फिर करीब दस मिनट तक लगातार धक्के मारने के बाद मेरा भी वीर्य अब निकलने वाला था और में ज़ोर ज़ोर से चोदने लगा। तो उसने कहा कि प्लीज अपने लंड का पानी मेरी चूत में ही निकालकर आज इसकी प्यास बुझा दे मेरे राजा। फिर यह बात सुनकर मैंने जोश में आकर धक्के और तेज़ कर दिए और दो मिनट में मैंने अपने लंड का सारा वीर्य उसकी चूत में डाल दिया और उसके ऊपर लेट गया। वो मुझे किस करने लगी और सहलाने लगी और थोड़ी देर के बाद जब मुझे थोड़ा अच्छा महसूस हुआ तब भी मेरा लंड उसकी चूत में ही था और वो मुझसे बोली कि प्रदीप तुम बहुत अच्छे हो और में तुमसे बहुत प्यार करती हूँ और आज से तुम मुझे जब भी ठीक टाईम मिले और मौका मिले तो चोदना, तुम इस बात का मुझसे वादा करो। फिर मैंने कहा कि मेरी जान में भी तुमसे उतना ही प्यार करता हूँ और इतनी मस्त, रसीली, कामुक चूत और गांड वाली भाभी को में कैसे बिना चोदे छोड़ सकता हूँ और अब तो दिल करता है कि में तुम्हारी चूत से अपने लंड को बाहर ही नहीं निकालूँ। तो इस पर वो बोली कि तो मैंने कब कहा है कि तुम अपना लंड कभी मेरी चूत से बाहर निकालो। मेरा लंड अब उसकी चूत में ही खड़ा होने लगा था और उसे लंड टाईट होता हुए महसूस हुआ तो वो बोली कि वाह मेरा शेर फिर से एक बार तैयार हो रहा है और इस बार में घोड़ी बनती हूँ। तो मैंने कहा कि हाँ ठीक है में तुझे डोगी स्टाइल में चोदूंगा और फिर वो कुतिया बन गयी और डोगी स्टाइल में इस बार मैंने उसे करीब 15 मिनट तक लगातार चोदा और मैंने एक बार फिर से उसकी चूत में अपना वीर्य निकाल दिया, लेकिन मुझे तो अब उसकी गांड मारने का दिल कर रहा था।
फिर मैंने उससे कहा कि भाभी में अब तुम्हारी गांड मारूँगा। तो वो बोली कि ठीक है, लेकिन तुम मुझे अभी से भाभी नहीं, रेशमा बोलो, दोस्तों क्योंकि उसका नाम रेशमा था और फिर मैंने उसकी एक बार गांड मारी और उसके साथ उसी के रूम में गया और उसके साथ दो बार और चुदाई करके वहीं पर सो गया और उसके बाद हमें जब भी मौका मिलता तो हम चुदाई करते है।
धन्यवाद …
सेक्सी मकान मालकिन की चूत मारी (3)
फिर मैंने थोड़ी हिम्मत करके भाभी को बैठे हुए ही पीछे से कंधे पर हाथ रखा और मेरे ऐसा करते ही भाभी मेरे कंधे पर अपना सर रखकर रोने लगी और में उन्हे अपनी तरफ खींचकर उनकी पीठ को सहलाने लगा। वो करीब पांच मिनट तक रोती रही। फिर जब उन्होंने अपना चेहरा मेरे कंधे से हटाया और अपने चेहरे को ऊपर किया तो मैंने अचानक से उनके गुलाबी, मुलायम होंठो पर अपने होंठ रख दिए, लेकिन भाभी ने कुछ नहीं कहा बस उन्होंने अपनी दोनों आखों को बंद कर लिया और जिसकी वजह से मुझे ग्रीन सिग्नल मिल गया और अब मैंने भाभी को स्मूच करना शुरू कर दिया और थोड़ी देर बाद भाभी ने भी मेरा पूरा पूरा साथ देना शुरू कर दिया। फिर थोड़ी देर के किस के बाद मैंने भाभी को खड़ा किया और अपने साथ उन्हे अपने रूम में ले गया, कमरे की लाइट चालू की और दरवाजा बंद कर दिया और जब मेरी और भाभी की नजरें एक दूसरे से मिली तो हम दोनों ने एक दूसरे को स्माइल किया और में भाभी को पकड़कर बेड पर ले गया और फिर मैंने उन्हे चूमना शुरू कर दिया और इस काम में भाभी भी मेरा पूरा साथ दे रही थी, भाभी ने उस समय सूट पहना हुआ था।
फिर मैंने उनकी चुन्नी को उतार दिया और सूट के ऊपर से ही दोनों बूब्स को दबाने लगा। जिसकी वजह से भाभी अब धीरे धीरे गरम हो रही थी और वो मुझे ज़ोर ज़ोर से किस कर रही थी और अब हम दोनों की जीभ एक दूसरे के मुहं में थी और करीब 15 मिनट किस करने के बाद मैंने भाभी को अलग किया और उनका सूट उतार दिया। अब भाभी सिर्फ़ सलवार में थी और ऊपर ब्रा पहन रखी थी। मैंने फिर से भाभी को पकड़ा और स्मूच करने लगा और ब्रा के ऊपर से ही दोनों बूब्स दबाने लगा। वाह दोस्तों क्या मस्त बूब्स थे और किस करते ही मैंने सलवार का नाड़ा खोल दिया और वो नीचे सरक गई। भाभी ने उस समय काले रंग की पेंटी पहनी हुई थी और में किस करते वक़्त कभी भाभी के बूब्स दबाता तो कभी पेंटी में हाथ डाल रहा था। तो भाभी ने मुझे अपने जिस्म से अलग किया और मुझे भी पूरा नंगा कर दिया और मेरे लंड को देखकर बोली कि कितना मस्त है? मैंने तुम्हे आज पहली बार तब देखा जब तुम नहाते समय बाथरूम में मुठ मार रहे थे और उसी वक़्त मेरा तुम से चुदने का दिल किया, लेकिन में तुमसे बात नहीं कर सकी और फिर वो मुझसे इतना कहकर मेरे लंड को मुहं में लेकर चूसने लगी। तो आअहह ऊऊओह भाभी मेरे मुहं से आवाज़ निकल पड़ी और भाभी तो पूरी तरह से लंड चूसने में अनुभवी लग रही थी और वो मेरे लंड को बहुत देर तक चूसती रही। फिर मैंने उसे सीधा लेटाया और उसकी ब्रा और पेंटी को उतार फेंका और उसके दोनों गोरे गोरे पैरों को फैलाया, लेकिन अब उसकी चूत को देखकर मेरी आँखे खुली की खुली रह गयी और मेरा चेहरा देखकर भाभी बोली कि क्या हुआ? तो मैंने कहा कि कुछ नहीं भाभी आपकी चूत तो बहुत मस्त है। मैंने आज तक एसी चूत कभी किसी ब्लूफिल्म में भी नहीं देखी। दोस्तों उसकी चूत एकदम गोरी, चिकनी, कामुक और बहुत सुंदर थी और उसकी चूत का दाना बिल्कुल लाल रंग का था। फिर मैंने कहा कि भाभी आप अपनी इस बैचेन चूत को अब तक मुझसे क्यों छुपाकर रख रही थी? तो वो बोली कि नहीं में तो कब से तुमसे चुदने को तैयार थी, लेकिन तुम ही मुझ में बिल्कुल भी रूचि नहीं ले रहे थे। फिर मैंने उनसे कहा कि सॉरी भाभी और मैंने उनके दोनों पैरों को फैलाया और मैंने अपना मुहं उसकी चूत के दाने पर रख दिया तो वो एकदम से उछल पड़ी और उसके मुहं से आहह्ह्ह्हह्ह आईईई की आवाज़ आई और मैंने चूत को चाटना शुरू कर दिया।